top of page
Writer's pictureUmesh Dobhal

एक अच्छी कविता

एक अच्छी कविता

जिसमें समूची जिन्दगी हो

नदी सी खिलखिलाती

निरन्तर आगे बढ़ती हुई

समुद्र सी पूर्णता हो


कविता संघर्षरत जिन्दगी है

रोटी के लिए रिरियाते

नरकंकाल नहीं है कविता

रोटी छीनने के मंसूबे बनाती है


अकेली लड़ी गई लड़ाई नहीं है कविता

दुश्मन से एकजुट लड़ा गया युद्ध है

लूट-खसोट व बर्बरता के

किसी भी रूप के विरूद्ध उपदेश नहीं

प्रचण्ड युद्ध है कविता


एक अच्छी कविता

मां के स्तनों से लगा बच्चा है

बेटे के भविष्य के लिए संघर्षरत पिता है


इस घूमती हुई पृथ्वी पर

कविता खूबसूरत घर बनाता हाथ है

कविता एक अच्छे संसार के लिए

किया जा रहा

सामूहिक प्रयास है।


– उमेश डोभाल

1 view0 comments

Recent Posts

See All

घर लौटने का समय

पहाड़ियों की चोटियों पर तना वर्षा के बाद का खुला-खुला सा आसमान कहीं तैरते उड़े-उड़े से बादल और पहाड़ी पगडंडी का अकेला सफर लम्बी गर्मियों...

सावधान !

जब वे आते हैं और कहते हैं हम खुशियां लायेंगे तुम्हारी थकी हुई और उदास जिन्दगियों में वे झूठ बोलते होते हैं उनकी भाषा की नरमी में एक...

कल रात नींद नहीं आयी

कल रात भर नींद नहीं आई कल रात भर करवटें बदलता रहा कल रात कुछ अजीब थी कल रात भर प्यास सताती रही आसपास कोई नहीं था इतनी सी बात थी और कल...

Comments


bottom of page